खिरकिया। शासन ने अहाताबार बंद कर दिए, ताकि शराबी शराब पीकर उत्पात न मचाऐं, और सभ्यता बनी रहें। आम नागरिको को किसी प्रकार की परेशानी न हों, लेकिन पुलिस, आबकारी और प्रशासनिक अधिकारियों की अनदेखी का आलम यह है कि सड़के ही अहाताबार बन गई है। नगर में खुलेआम सड़को जहां मन चाहे वहां खड़कर शराब पी जा रही है। कोई आपत्ति लेता है तो उसके साथ गाली गलौच कर दी जाती है। इस पर रोक लगाने वाला कोई नही है। इससे अब नागरिक त्रस्त हो चुके है। खिरकिया नगर में शराबियों को ऐसा ही जमघट रोजाना लग रहा है। नगर में अंग्रेजी शराब दुकान का संचालन बस स्टेंड रोड पर सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के बाजू से किया जा रहा है। इस शराब दुकान और अस्पताल के आसपास के क्षेत्र को शराबियों ने ओपन अहाताबार बना लिया है। जहां सड़को पर खड़कर, लोगो की दुकानो के सामने ओटलो पर बैठकर, अस्पताल के गेट के सामने, तो कभी परिसर के अंदर बैठकर शराब पी जा रही है। एक प्रकार से यहां की सड़क सुबह होते और देर रात तक आहाताबार का रूप ले लेती है। पूर्व में कई बार वार्डवासियों ने कार्यवाही की मांग की है, लेकिन पुलिस आती है, शराब पीने और पिलाने वालो को समझाइस देकर चली जाती है, और अपने कर्तव्य से पल्ला झाड़ लेती है।
अस्पताल के गेट के सामने ही पिलायी जा रही शराब
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के गेट के सामने ही रोजाना दुकानो के सामने अवैध रूप से शराब पिलायी जा रही है। शराबियों द्वारा उत्पात मचाया जाता है, व गाली गलौच एवं विवाद किया जाता है। शराबियो के उत्पात से हम आमजन व दुकानदार परेशान है। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के आसपास शराब सेवन के साथ खाद्य सामग्री विक्रय की जाने वाली दुकानो पर जहां पर शराबियो द्वारा खुलेआम शराब पी जाती है। चखने बेचने के लालच में सड़क के किनारे अवैध तरीके से दुकानो पर शराब पिलायी जा रही है। इस दौरान शराबियों द्वारा शराब पीकर उत्पात मचाया जाता है। खुलेआम गाली गलौच की जाती है। अस्पताल के गेट के सामने अशोभनीय हरकते की जाती है। अस्पताल में आने जाने मरीजो को परेशानियां होती है। वही स्टाफ भी इससे परेशान है। शाम के समय तो यहां सड़को पर अहाताबार जैसी स्थिति बन जाती है। शराबियों द्वारा शराब पीकर दुकानो के सामने ही उल्टियां कर देते है। यहां वहां खाली बाटल और डिस्पोजल फेंक देते है। बोतल फोड़ देते है। जिससे अस्वच्छता की स्थिति बनती है। वार्डवासी और आसपास दुकानदार इससे काफी परेशान है। आगे बस स्टेंड और रेल्वे स्टेशन भी है, इससे यात्री भी परेशान है।
देखकर भी आंखे मूंदे हुए पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी
मप्र शासन द्वारा खुले में शराब पीना या पिलाना प्रतिबंधित किया गया है, बावजूद उसके इसका पालन नही हो रहा है, जहां दुकान संचालित हो रही है, वह प्रतिबंधित क्षेत्र है। इस संबंध में वार्डवासियों ने पूर्व अनुविभागीय अधिकारी एवं थाना प्रभारी को लिखित शिकायत भी की थी, लेकिन पुलिस केवल समझाइस देती है, ओर चली जाती है। कुछ दिनो बार वही स्थिति बनती है। इस मार्ग से रोजाना विभागीय अधिकारियों, प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों का आना जाना लगा रहता है। शराबी उत्पात मचाते रहते है, खुले में शराब पीते है, लेकिन किसी को कोई खौफ नही है, क्योकि कार्यवाही नही हो रही है। अवैध तरीके अतिक्रमण कर खाद्य सामग्री की दुकानो का संचालन हो रहा है, जिसको न हटाया जाता है, न कार्यवाही की जा रही है। अस्वच्छता की स्थिति बनती है। नपं इस पर भी कार्यवाही नही करती है। सभी अपनी जिम्मेदारी समझे तो नगर से शराबियों का उत्पात खत्म हो सकता है, लेकिन इसके लिए कार्यवाही की आवश्यकता है।